रोहतक। कृषि अध्यादेशों के विरोध में जाट आरक्षण संघर्ष समिति भी आ गई है। इस संबंध में बयान देते हुए जाट नेता यशपाल मलिक ने कहा कि कृषि अध्यादेशों से किसान तो मरेगा ही मरेगा। लेकिन खेती में जुटा मजदूर उससे पहले मरेगा, क्योंकि जब कॉन्ट्रैक्ट फॉर्मिंग से 200-200 एकड़ जमीन की खेती होगी तो मजदूरों से नहीं बल्कि मशीनों से काम लिया जाएगा। Jat reservation struggle committee support to farmer movement, Yashpal Malik said that agricultural laborers will die before farmer Rohtak. The Jat Reservation Struggle Committee has also…
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